काले भुट्टे आग पर जलने से नही बल्कि नेच्युरल ही होते है काले, स्वाद ऐसा की आपको आ जाएगा मजा

दुनिया में बहुत सारी ऐसी चीज है जिसे देखने पर हैरानी होती है। अगर हम अपनी प्रकृति की बात करें तो हमारी प्रकृति ने कुछ ऐसी चीज बनाई है। जिन पर यकीन कर पाना मुश्किल है अब चाहे वह जीव जंतु हो या फिर पेड़ पौधे। लेकिन इसके बावजूद भी बहुत सारी ऐसी चीज हैं जो आम होती हैं। आप सब ने बुद्ध तो बहुत खाया होगा आज हम भुट्टो के बारे में आपको कुछ बताएंगे ज्यादातर लोग पीले दाने वाले भूतों को खाने का जिक्र करते हैं। लेकिन आज हम आपको कल भुट्टो के बारे में बताने जा रहे हैं जी हां आपने सही सुना दुनिया में काले कलर के भुट्टे भी मिलते हैं। जिन्हें देखने के बाद ऐसा लगता है कि इन्हें जलाकर कल कर दिया गया है जबकि यह नेचुरल ब्लैक होते हैं।
कैसा होता है काले भुट्टो का टेस्ट
काले मक्के की पत्तियाँ हल्के बैंगनी रंग की होती हैं। इनके पौधों की लम्बाई तीन मीटर तक होती है. साथ ही इस पर लगने वाले फल बीस सेंटीमीटर तक लंबे होते हैं। जैसे-जैसे यह परिपक्व होता है, इसके दाने गहरे रंग के होने लगते हैं। इन भुट्टों से एक तरल पदार्थ निकलता है, जो इस पर दाग लगा देता है। यदि इसकी पत्तियों को हाथों से हटा दिया जाए तो अंगुलियों पर बैंगनी रंग आ जाता है। ये खाने में स्वादिष्ट होते हैं लेकिन इन्हें पीले मक्के की तुलना में अधिक चबाने की आवश्यकता होती है।
कहां होती है काले भुट्टो की खेती
दुनिया में पीले कलर के भुट्टे उगाए जाते हैं लेकिन इस तरह से काले भुट्टो की खेती नहीं होती है। यह हमारी दुनिया के केवल कुछ ही इलाकों में पाए जाते हैं जैसे कि पेरू, पेरू में काले भुट्टो की खेती की जाती है। वहां इसे मेज़ मोर्डो के नाम से जाना जाता है। जबकि अमेरिका और ब्रिटेन में इसे ब्लैक मैक्सिकन कॉर्न के नाम से जाना जाता है। यह दक्षिण अमेरिका के बाहर बहुत कम पाया जाता है। इसे उगाने के लिए बहुत गर्म मौसम की आवश्यकता होती है। साथ ही फल लगने के बाद इसे भारी बारिश की भी जरूरत होती है। ऐसे में इसे दुनिया की चुनिंदा जगहों पर ही उगाया जा सकता है।