मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने हरियाणा की दीन दयाल उपाध्याय अंत्योदय परिवार सुरक्षा योजना के तहत 3,882 लाभार्थियों के बैंक खातों में 144.73 करोड़ रुपये भेजे है. इस योजना का उद्देश्य उन परिवारों को सहायता देना है जो किसी सदस्य की मृत्यु या स्थायी विकलांगता के कारण वित्तीय कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं.
अब तक 763.69 करोड़ रुपये जारी
योजना की शुरुआत से अब तक पोर्टल के माध्यम से आवेदन करने वाले 20,399 पात्र परिवारों को एक अप्रैल 2023 से 30 जून 2024 तक 763.69 करोड़ रुपये प्रदान किए जा चुके हैं. यह पैसे भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI Payment Platform) के माध्यम से आधार से जुड़े खातों में स्थानांतरित की जाती है.
कौन हैं योजना के पात्र लाभार्थी?
इस योजना के तहत, वे परिवार पात्र हैं जिनकी वार्षिक आय (Annual Family Income Limit) 1.80 लाख रुपये से कम है. लाभार्थिता की पुष्टि परिवार सूचना डेटा रिपोजिटरी (FIDR) के माध्यम से की जाती है. यह सहायता प्राकृतिक या आकस्मिक मृत्यु और दुर्घटनाओं के कारण विकलांगता की स्थिति में दी जाती है.
कितनी है सहायता राशि
योजना के तहत विभिन्न आयु समूहों के लिए अलग-अलग सहायता राशि तय की गई है:
- 6 से 12 वर्ष: ₹1 लाख
- 12 से 18 वर्ष: ₹2 लाख
- 18 से 25 वर्ष: ₹3 लाख
- 25 से 45 वर्ष: ₹5 लाख
- 45 से 60 वर्ष: ₹3 लाख
बनारसी डिस्ट्रीब्यूटरी परियोजना का उद्देश्य
मुख्यमंत्री ने जल प्रवाह में सुधार (Water Flow Improvement) के लिए बनारसी डिस्ट्रीब्यूटरी में साइफन और क्रॉस रेगुलेटर के पुनर्निर्माण हेतु 147.88 लाख रुपये की मंजूरी दी. यह परियोजना पानी की आपूर्ति की समस्याओं को दूर करने और गांवों को सिंचाई सुविधा प्रदान करने के लिए बनाई गई है.
इन गांवों को मिलेगा फायदा
यह परियोजना खानपुर, हेबटका, मरोदा, कोरा बास, झिमरावत, बसी, पुथली, जलालपुर और अन्य गांवों को सीधे लाभान्वित करेगी. इससे न केवल जल प्रवाह (Canal Water Flow Improvement) में सुधार होगा, बल्कि इन क्षेत्रों की कृषि उत्पादकता भी बढ़ेगी.
योजना का सामाजिक असर
दयालु-वन योजना और बनारसी डिस्ट्रीब्यूटरी परियोजना हरियाणा के गरीब और ग्रामीण परिवारों के लिए एक बड़ा बदलाव ला सकती हैं. यह न केवल वित्तीय स्थिरता (Financial Stability for Families) प्रदान करती हैं, बल्कि इनसे गांवों के जीवन स्तर में भी सुधार होगा.