Indian Railway: भारतीय ऊर्जा क्षेत्र में एक नई क्रांति के रूप में ताप विद्युत पर निर्भरता को कम करते हुए नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों (Madhya Pradesh renewable energy) को बढ़ावा दिया जा रहा है। मध्य प्रदेश इस दिशा में अग्रणी राज्य के रूप में अब तक 6,418 मेगावाट बिजली का उत्पादन कर चुका है। जिसमें बड़े पैमाने पर सौर ऊर्जा का योगदान है .
सौर ऊर्जा का बढ़ता उपयोग और इसके लाभ
दिन के समय में उत्पादित बिजली का उपयोग बढ़ाने के लिए मध्य प्रदेश सरकार ने कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। इनमें रीवा सौर परियोजना से उत्पादित ऊर्जा का उपयोग करके दिल्ली मेट्रो का संचालन एक प्रमुख उदाहरण है। सात अलग-अलग राज्यों की ट्रेनें भी इसी ऊर्जा से चल रही हैं। जिससे ऊर्जा की सामर्थ्यता और स्थायित्व (solar energy efficiency) को बल मिलता है.
भारतीय रेल और सौर ऊर्जा का संयोजन
मध्य प्रदेश में स्थित आगर, शाजापुर और नीमच के सोलर प्लांट से भारतीय रेल को प्रतिदिन 195 मेगावाट बिजली प्रदान की जा रही है। यह व्यवस्था 25 वर्षों के लिए सुनिश्चित की गई है। जिससे ऊर्जा की निरंतरता और सुरक्षा (long-term solar contract) सुनिश्चित होती है.
सौर ऊर्जा में वृद्धि और भविष्य की संभावनाएं
पिछले 12 वर्षों में मध्य प्रदेश में नवीकरणीय ऊर्जा की क्षमता 12 गुना बढ़ी है। 2012 में जहां 491 मेगावाट बिजली का उत्पादन होता था। वहीं 2024 में यह बढ़कर 6,418 मेगावाट हो गया है। सौर ऊर्जा में इस अप्रत्याशित वृद्धि से राज्य की ऊर्जा स्थिति (solar capacity increase) में महत्वपूर्ण सुधार हुआ है.
औद्योगिक और घरेलू उपभोक्ताओं के लिए ऊर्जा पहलें
सरकार ने दिन में उत्पादित ऊर्जा का उपयोग बढ़ाने के लिए विभिन्न प्रोत्साहन योजनाएं शुरू की हैं। औद्योगिक इकाइयों को ऊर्जा उपयोग बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करने के साथ घरेलू उपभोक्ताओं को भी दिन के समय बिजली की खपत पर 20% की छूट (energy consumption discount) दी जा रही है, जो अप्रैल 2025 से लागू होगी.
दिल्ली मेट्रो और भारतीय रेल में ऊर्जा बचत
दिल्ली मेट्रो रीवा सौर प्लांट से प्राप्त 26% बिजली से संचालित (Delhi Metro solar savings) हो रही है। जिससे वार्षिक लगभग 100 करोड़ रुपये की बचत हो रही है। इसी तरह भारतीय रेल भी सोलर प्लांट्स से महत्वपूर्ण ऊर्जा बचत कर रही है। जिससे इसकी वार्षिक बचत 250 करोड़ रुपये से अधिक होने का अनुमान है.
मध्य प्रदेश में नई सौर परियोजनाएं
मध्य प्रदेश में 7,500 मेगावाट क्षमता की नई सौर परियोजनाओं की योजना (new solar projects MP) बनाई गई है, जो विभिन्न जिलों में विस्तारित की जाएगी। इन परियोजनाओं से ऊर्जा क्षमता में वृद्धि के साथ-साथ राज्य की आर्थिक प्रगति में भी योगदान दिया जाएगा.