Mustard Seeds: भारतीय कृषि चक्र में खरीफ फसलों की कटाई का समय आन पहुँचा है. जिसके बाद किसान भाई रबी फसलों (Rabi crops) की बुवाई की तैयारी में जुट जाते हैं. इस दौरान मुख्य रूप से गेहूं, जौ, चना और सरसों जैसी फसलों की बुवाई की जाती है.
सरसों की बुवाई के लिए उन्नत बीजों की उपलब्धता
रबी सीजन के आरंभ में किसान सरसों की बुवाई (mustard sowing) के लिए विशेष तौर पर तत्पर रहते हैं. इस साल सरसों की खेती के लिए आईसीएआर-डीआरएमआर (ICAR-DRMR), सेवर, भरतपुर द्वारा उन्नत किस्मों के बीजों की पेशकश की जा रही है, जो किसानों को अनुदानित दरों पर उपलब्ध कराए जा रहे हैं.
पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर बीज वितरण
यह बीज वितरण कार्यक्रम “पहले आओ, पहले पाओ” के सिद्धांत पर आधारित है. किसानों को विभिन्न सरसों की उन्नत किस्मों के बीज प्रदान किए जा रहे हैं ताकि वे अपनी फसलों की उत्पादकता बढ़ा सकें और अधिक लाभ कमा सकें.
बीज प्राप्ति की प्रक्रिया
इच्छुक किसान संस्थान से संपर्क कर बीज प्राप्त कर सकते हैं. बीज लेने के लिए किसानों को उनके आधार कार्ड की आवश्यकता होगी. इससे सुनिश्चित होता है कि बीज वास्तविक और पात्र किसानों तक पहुँचे.
उन्नत सरसों किस्मों के बीज की खासियतें
संस्थान द्वारा विकसित विभिन्न सरसों की किस्में जैसे कि गिरिराज DRMRIJ-31, DRMR 150-35 और DRMR 1165-40 ज्यादा उत्पादन क्षमता और बेहतर तेल प्रतिशत के साथ उपलब्ध कराई जा रही हैं. ये किस्में विभिन्न जलवायु और मिट्टी के प्रकारों में उगाई जा सकती हैं और किसानों को बेहतर आय प्रदान करने में सहायक होती हैं.