Rain Season Food Safety : बारिश के मौसम में नमी की मात्रा काफी ज्यादा बढ़ जाती है, जिससे घरेलू खाद्य सामग्री जल्दी खराब होने लगती है। खासकर अनाज जैसे गेहूं और चावल इस मौसम में सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं। इन पर अक्सर घुन, कीड़े और फफूंद लग जाते हैं। अगर समय रहते इनका सही तरीके से भंडारण न किया जाए, तो ये पूरी तरह नष्ट हो सकते हैं।
गेहूं और चावल को स्टोर करना क्यों है जरूरी?
भारत में ज्यादातर घरों में सालभर का गेहूं और चावल एक बार में खरीदकर स्टोर किया जाता है। ऐसे में अगर ये अनाज खराब हो जाए तो भारी नुकसान हो सकता है। न केवल भोजन की बर्बादी होती है बल्कि पैसे भी व्यर्थ चले जाते हैं। इसलिए जरूरी है कि इन अनाजों की सुरक्षा के लिए अच्छे और सस्ते उपाय किए जाएं।
मानसून से पहले अपनाएं ये सस्ता और असरदार जुगाड़
अगर आप भी सोच रहे हैं कि बारिश में गेहूं को घुन और फफूंद से कैसे बचाया जाए, तो हम आपको बता रहे हैं एक आसान, सस्ता और देसी तरीका। इस ट्रिक में जिस चीज का इस्तेमाल किया जाता है, वह है – चूना। जी हां, वही सफेद चूना जिसे आमतौर पर दीवारों पर पोतने के लिए प्रयोग किया जाता है।
चूने से गेहूं कैसे बचाए कीड़े और घुन से?
चूना नमी सोखने की क्षमता रखता है। इसलिए यह अनाज में नमी को नियंत्रित कर सकता है और गेहूं को घुन या फफूंद लगने से बचा सकता है। आप इसे दो तरीकों से इस्तेमाल कर सकते हैं।
पहला तरीका: ड्रम के तले में चूना बिछाकर करें स्टोरेज
- एक बड़ा और सूखा ड्रम लें।
- ड्रम के तले में चूने के टुकड़े अच्छे से बिछा दें।
- चूने के ऊपर अखबार की एक परत लगाएं ताकि चूना सीधे गेहूं को न छुए।
- अब पूरा ड्रम धूप में सुखाए गए गेहूं से भर दें।
- ऊपर की ओर फिर से अखबार बिछाएं और ड्रम का ढक्कन कसकर बंद कर दें।
इस तरीके से गेहूं लंबे समय तक सुरक्षित और कीट-मुक्त रहेगा।
दूसरा तरीका: कपड़े की पोटली बनाकर करें इस्तेमाल
- सबसे पहले धूप में सूखा हुआ गेहूं और ड्रम लें।
- चूने के 8-10 टुकड़े लें और उन्हें बराबर भागों में तोड़ लें।
- इन टुकड़ों को एक पतले सूती कपड़े में बांधकर पोटली बना लें।
- गेहूं को ड्रम में भरने के दौरान इन पोटलियों को बीच-बीच में दबा दें।
- ड्रम का ढक्कन अच्छी तरह से बंद कर दें।
इस पद्धति से चूना नमी सोख लेगा और घुन या फफूंद की आशंका नहीं रहेगी।
बरसात में इन बातों का भी रखें ध्यान
- गेहूं को हमेशा धूप में अच्छी तरह सुखाकर ही स्टोर करें।
- नमी वाले स्थान पर स्टोरेज से बचें।
- स्टोरेज के ड्रम को कई बार खोलने से बचें, ताकि अंदर की हवा बंद रहे।
- हर महीने स्टोर गेहूं की जांच जरूर करें, ताकि समय रहते कोई समस्या दिखे तो उपाय हो सके।
घरेलू उपाय से बचाएं बर्बादी और पैसे की बर्बादी
यह देखा गया है कि कई बार घरेलू उपाय, बाजार के महंगे कीटनाशकों और केमिकल्स से ज्यादा असरदार होते हैं। चूना एक प्राकृतिक नमी नियंत्रक है जो आपके अनाज को बिना किसी रासायनिक दुष्प्रभाव के बचा सकता है।
मानसून से पहले करें तैयारी, सालभर रहें निश्चिंत
मानसून आने ही वाला है, ऐसे में यह जरूरी है कि आप अपने घर में स्टोर किए गए अनाज की सुरक्षा के लिए अभी से तैयार हो जाएं। चूने से अनाज की सुरक्षा एक परखा हुआ देशी नुस्खा है, जो न सिर्फ प्रभावी है बल्कि सस्ता और सरल भी है।बारिश के मौसम में नमी की मात्रा काफी ज्यादा बढ़ जाती है, जिससे घरेलू खाद्य सामग्री जल्दी खराब होने लगती है। खासकर अनाज जैसे गेहूं और चावल इस मौसम में सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं। इन पर अक्सर घुन, कीड़े और फफूंद लग जाते हैं। अगर समय रहते इनका सही तरीके से भंडारण न किया जाए, तो ये पूरी तरह नष्ट हो सकते हैं।
गेहूं और चावल को स्टोर करना क्यों है जरूरी?
भारत में ज्यादातर घरों में सालभर का गेहूं और चावल एक बार में खरीदकर स्टोर किया जाता है। ऐसे में अगर ये अनाज खराब हो जाए तो भारी नुकसान हो सकता है। न केवल भोजन की बर्बादी होती है बल्कि पैसे भी व्यर्थ चले जाते हैं। इसलिए जरूरी है कि इन अनाजों की सुरक्षा के लिए अच्छे और सस्ते उपाय किए जाएं।
मानसून से पहले अपनाएं ये सस्ता और असरदार जुगाड़
अगर आप भी सोच रहे हैं कि बारिश में गेहूं को घुन और फफूंद से कैसे बचाया जाए, तो हम आपको बता रहे हैं एक आसान, सस्ता और देसी तरीका। इस ट्रिक में जिस चीज का इस्तेमाल किया जाता है, वह है – चूना। जी हां, वही सफेद चूना जिसे आमतौर पर दीवारों पर पोतने के लिए प्रयोग किया जाता है।
चूने से गेहूं कैसे बचाए कीड़े और घुन से?
चूना नमी सोखने की क्षमता रखता है। इसलिए यह अनाज में नमी को नियंत्रित कर सकता है और गेहूं को घुन या फफूंद लगने से बचा सकता है। आप इसे दो तरीकों से इस्तेमाल कर सकते हैं।
पहला तरीका: ड्रम के तले में चूना बिछाकर करें स्टोरेज
- एक बड़ा और सूखा ड्रम लें।
- ड्रम के तले में चूने के टुकड़े अच्छे से बिछा दें।
- चूने के ऊपर अखबार की एक परत लगाएं ताकि चूना सीधे गेहूं को न छुए।
- अब पूरा ड्रम धूप में सुखाए गए गेहूं से भर दें।
- ऊपर की ओर फिर से अखबार बिछाएं और ड्रम का ढक्कन कसकर बंद कर दें।
इस तरीके से गेहूं लंबे समय तक सुरक्षित और कीट-मुक्त रहेगा।
दूसरा तरीका: कपड़े की पोटली बनाकर करें इस्तेमाल
- सबसे पहले धूप में सूखा हुआ गेहूं और ड्रम लें।
- चूने के 8-10 टुकड़े लें और उन्हें बराबर भागों में तोड़ लें।
- इन टुकड़ों को एक पतले सूती कपड़े में बांधकर पोटली बना लें।
- गेहूं को ड्रम में भरने के दौरान इन पोटलियों को बीच-बीच में दबा दें।
- ड्रम का ढक्कन अच्छी तरह से बंद कर दें।
इस पद्धति से चूना नमी सोख लेगा और घुन या फफूंद की आशंका नहीं रहेगी।
बरसात में इन बातों का भी रखें ध्यान
- गेहूं को हमेशा धूप में अच्छी तरह सुखाकर ही स्टोर करें।
- नमी वाले स्थान पर स्टोरेज से बचें।
- स्टोरेज के ड्रम को कई बार खोलने से बचें, ताकि अंदर की हवा बंद रहे।
- हर महीने स्टोर गेहूं की जांच जरूर करें, ताकि समय रहते कोई समस्या दिखे तो उपाय हो सके।
घरेलू उपाय से बचाएं बर्बादी और पैसे की बर्बादी
यह देखा गया है कि कई बार घरेलू उपाय, बाजार के महंगे कीटनाशकों और केमिकल्स से ज्यादा असरदार होते हैं। चूना एक प्राकृतिक नमी नियंत्रक है जो आपके अनाज को बिना किसी रासायनिक दुष्प्रभाव के बचा सकता है।
मानसून से पहले करें तैयारी, सालभर रहें निश्चिंत
मानसून आने ही वाला है, ऐसे में यह जरूरी है कि आप अपने घर में स्टोर किए गए अनाज की सुरक्षा के लिए अभी से तैयार हो जाएं। चूने से अनाज की सुरक्षा एक परखा हुआ देशी नुस्खा है, जो न सिर्फ प्रभावी है बल्कि सस्ता और सरल भी है।