हरियाणा में चलेगी बिना डीजल और लाइट से चलने वाली ट्रेन, एक दिन में करेगी 360 किलोमीटर का सफर

16 अप्रैल रविवार को भारतीय रेल का 170 साल का सफर पूरा होगा। भारतीय ट्रेन अब धीरे-धीरे बदलती जा रही है। भारतीय रेल ने अगले साल दुनिया की सबसे लंबी हाइड्रोजन ट्रेन की शुरुआत करके इतिहास रचेगा।
भारत दुनिया की सबसे लंबी हाइड्रोजन ट्रेन का उद्घाटन करने जा रहा है, जो प्रदूषण के बढ़ते खतरे को देखते हुए होगा। इस ट्रेन में दसवीं बार कोच होंगे। ये ट्रेन जींद और सोनीपत, हरियाणा के बीच चलेगी।
यह ट्रेन बिना धुआं छोड़े दौड़ेगी, जो वायु प्रदूषण को कम करता है। इस इको फ्रेंडली ट्रेन का पहला दौरा जर्मनी में हुआ, जहां इसका संचालन सिर्फ दो कोच ने किया था। रेलवे प्रशासन ने इस नवीनतम तकनीक का उपयोग करके हाइड्रोजन ट्रेन बनाने का डिजाइन बनाया है। 105 की रफ्तार से दिन में केवल 360 किलोमीटर चलेगा।
भारत का सबसे बड़ा रेल नेटवर्क
भारत का सबसे बड़ा नेटवर्क है। हर दिन लाखों लोग सफर करते हैं। भारतीय रेल ने लगातार नवीनतम बदलाव किए हैं। इसमें शताब्दी और राजधानी ट्रेनों में ऑटोमैटिक डोर, अपग्रेड टॉयलेट और आधुनिक उपकरणों से लैस स्टेशन विकास का मॉडल दिखाया गया है।
रेलवे अधिकारी ने बताया कि पहले ट्रेन दूसरे देश से भारत लाया जाता था, लेकिन अब भारत दूसरे देश से ट्रेन बनाकर भेजता है। कोच फैक्ट्री भी काफी बदल गई है। इसके अलावा ट्रेनों की गति भी बढ़ी। आने वाले दिनों में सुपर स्पीड ट्रेन 200 km/h की रफ्तार से चलेगी।
भारत में स्लीपर सुविधा मिलेगी
भारत ट्रेन लगभग पंद्रह रूटों पर देश भर में चल रही है। वर्तमान में इस ट्रेन में केवल बैठने की सुविधा है, लेकिन जल्द ही वंदे भारत में यात्री सोते हुए यानी स्लीपर से सफर कर सकेंगे। इसके लिए तैयारी शुरू हो गई है। रूस की एक कंपनी को इसका टेंडर दिया गया है, ऐसा बताया जा रहा है। कंपनी जल्द ही स्लीपर और एसी वाले कोच को बनाकर तैयार करेगा, जिसमें यात्री बैठकर सो सकते हैं।