बीमा, प्रदूषण और फिटनेस फैल गाड़ियों का अपने आप कट जाएगा चालान, जल्द ही आने वाला है ये अनोखा ऑटोमेटेड सिस्टम

By Uggersain Sharma

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Insurance, pollution and fitness challan will automatically be deducted for vehicles spilling

बिहार सरकार द्वारा शुरू किया गया ई-डिटेक्शन सिस्टम एक अत्याधुनिक तकनीक पर आधारित व्यवस्था है. जो टोल प्लाजा पर लगे कैमरों और सॉफ्टवेयर के माध्यम से वाहन की जांच करता है. जब भी कोई वाहन एनएच के टोल प्लाजा से गुजरता है, तो वहां मौजूद फास्टैग के संपर्क में आते ही वाहन की तस्वीर और उससे संबंधित सभी जानकारी सॉफ्टवेयर में दर्ज हो जाती है. इसके बाद इस डाटा का एनआईसी के वाहन पोर्टल पर उपलब्ध डाटा से मिलान किया जाता है. यदि वाहन के बीमा, फिटनेस, या प्रदूषण प्रमाणपत्र में कोई कमी पाई जाती है, तो तुरंत ई-चालान जारी कर दिया जाता है.

मोटर वाहन अधिनियम का उल्लंघन अब नहीं होगा आसान

ई-डिटेक्शन सिस्टम के लागू होने से अब मोटर वाहन अधिनियम का उल्लंघन करना वाहन चालकों के लिए बेहद मुश्किल हो जाएगा. यह सिस्टम स्वतः ही सभी आवश्यक दस्तावेजों की जांच करता है और किसी भी अनियमितता पर चालान काट देता है. इससे अब बिना परमिट, बीमा, या फिटनेस सर्टिफिकेट के वाहन चलाने वाले लोग पकड़ में आ जाएंगे और उन्हें चालान का सामना करना पड़ेगा. यह कदम सड़क सुरक्षा को बढ़ावा देने और अनियंत्रित वाहनों पर नियंत्रण करने के उद्देश्य से उठाया गया है.

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प्रायोगिक परीक्षण में सफल रहा ई-डिटेक्शन सिस्टम

ई-डिटेक्शन सिस्टम को पूरे राज्य में लागू करने से पहले इसका प्रायोगिक परीक्षण किया गया था. इस परीक्षण के दौरान पिछले दो दिनों में टोल प्लाजाओं पर पांच हजार से अधिक वाहनों का ई-चालान काटा गया. परीक्षण सफल रहा और अब इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जा रहा है. इससे यह सुनिश्चित होगा कि राज्य के सभी वाहन मोटर वाहन अधिनियम के अनुसार चलें और सड़कों पर सुरक्षित यात्रा कर सकें.

सड़क सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए अहम कदम

बिहार सरकार का यह कदम सड़क सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए अत्यधिक महत्वपूर्ण है. राज्य में हो रही सड़क दुर्घटनाओं में सबसे अधिक मौतें राष्ट्रीय राजमार्गों पर होती हैं. इन दुर्घटनाओं पर नियंत्रण पाने के लिए यह जरूरी है कि वाहनों का फिटनेस, बीमा और प्रदूषण प्रमाणपत्र सही हो. ई-डिटेक्शन सिस्टम के माध्यम से सरकार यह सुनिश्चित कर रही है कि सभी वाहन चालक इन नियमों का पालन करें और सड़क दुर्घटनाओं में कमी आए.

कैसे काम करेगा ई-चालान सिस्टम

ई-डिटेक्शन सिस्टम के तहत जब कोई वाहन टोल प्लाजा से गुजरता है, तो फास्टैग के जरिए उसकी सारी जानकारी स्वचालित रूप से सॉफ्टवेयर में दर्ज हो जाती है. इसके बाद इस जानकारी को सरकारी पोर्टल पर उपलब्ध डाटा से मिलाया जाता है. अगर वाहन के दस्तावेजों में कोई कमी पाई जाती है, तो तुरंत ई-चालान जारी कर दिया जाता है. यह चालान एक दिन में किसी टोल प्लाजा पर केवल एक बार काटा जाएगा और इसकी सूचना संबंधित वाहन मालिक के मोबाइल नंबर पर भेज दी जाएगी.

Uggersain Sharma

Uggersain Sharma is a Hindi content writer from Sirsa (Haryana) with three years of experience. He specializes in local news, sports, and entertainment, adept at writing across a variety of topics, making his work versatile and engaging.