Indian Railway: हरियाणा में चलेगी बिना डीजल और बिजली से चलने वाली ट्रेन, इतने मिनटों में करेगी 180KM का सफर

By Vikash Beniwal

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Indian Railway: भारत में हाइड्रोजन ट्रेन की शुरुआत न केवल टेक्नोलॉजीकल प्रोग्रेस का सूचक है. बल्कि यह पर्यावरणीय संरक्षण की ओर एक महत्वपूर्ण कदम भी है. दिसंबर और जनवरी के महीने से सोनीपत और जींद के बीच चलने वाली यह हाइड्रोजन ट्रेन (Hydrogen Train) भारत को वैश्विक पटल पर एक अच्छा स्थान प्रदान करेगी. यह ट्रेन पूरी तरह से प्रदूषण रहित होने के नाते पर्यावरण के लिए लाभकारी सिद्ध होगी.

टेक्नोलॉजीकल प्रोग्रेस और पर्यावरणीय प्रभाव

हाइड्रोजन ट्रेन की टेक्नोलॉजी (hydrogen fuel technology) ऐसी है कि यह हाइड्रोजन और ऑक्सीजन के रासायनिक प्रतिक्रिया से ऊर्जा उत्पन्न करती है. जिसके फलस्वरूप केवल पानी और ऊष्मा का उत्सर्जन होता है. इस तरह यह ट्रेन न केवल शून्य उत्सर्जन को प्रोत्साहित करती है. बल्कि सामान्य डीजल ट्रेनों की तुलना में ईंधन की खपत में भी काफी कमी लाती है. इसकी क्षमता और दक्षता को देखते हुए यह निस्संदेह भविष्य की ट्रेन है.

भारतीय रेलवे के लिए नए युग का आरंभ

भारत स्वीडन, चीन, जर्मनी और फ्रांस के बाद हाइड्रोजन ट्रेन चलाने वाला पांचवां देश (fifth country) बन गया है. यह उपलब्धि भारतीय रेलवे के लिए नई तकनीकी संभावनाओं का द्वार खोलती है और साथ ही भारत को विश्व स्तर पर एक हरित और स्वच्छ ऊर्जा के प्रयोग में अग्रणी बनाती है.

आने वाली योजनाएं और उम्मीदें

इस ट्रेन के सफल परीक्षण के बाद भारतीय रेलवे की योजना इसी तकनीक को अन्य मार्गों पर भी लागू करने की है. विशेष रूप से पर्वतीय और हेरिटेज रूट्स (heritage routes) पर इस तकनीक का प्रयोग न केवल पर्यटन को बढ़ावा देगा बल्कि स्थानीय वातावरण को भी संरक्षित करेगा.

Vikash Beniwal

मेरा नाम विकास बैनीवाल है और मैं हरियाणा के सिरसा जिले का रहने वाला हूँ. मैं पिछले 4 सालों से डिजिटल मीडिया पर राइटर के तौर पर काम कर रहा हूं. मुझे लोकल खबरें और ट्रेंडिंग खबरों को लिखने का अच्छा अनुभव है. अपने अनुभव और ज्ञान के चलते मैं सभी बीट पर लेखन कार्य कर सकता हूँ.