Chanakya Niti: आचार्य चाणक्य जिन्हें बीसवीं सदी के सबसे ज्ञानी और विद्वान व्यक्तियों में गिना जाता है ने अपने जीवनकाल में कई महत्वपूर्ण नीतियों (important policies) की रचना की. इन नीतियों में उन्होंने मनुष्य की आदतों के संदर्भ में बहुत कुछ कहा है जिसमें अच्छी और बुरी दोनों तरह की आदतें शामिल हैं. चाणक्य के अनुसार अच्छी आदतें व्यक्ति को सफलता की ओर ले जा सकती हैं जबकि बुरी आदतें उसे बर्बादी की ओर धकेलती हैं. आइए आज हम इन्हीं आदतों के बारे में विस्तार से जानते हैं.
मेहनत करने की आदत
चाणक्य नीति के अनुसार अगर कोई व्यक्ति जीवन में धनवान बनना चाहता है और लगातार तरक्की (continuous progress) करना चाहता है तो उसके लिए मेहनती होना अत्यंत आवश्यक है. एक मेहनती व्यक्ति अपनी किस्मत को बदलने की शक्ति रखता है और उस पर धन की देवी मां लक्ष्मी का आशीर्वाद (blessings of Goddess Lakshmi) बना रहता है. चाणक्य नीति के मुताबिक ऐसा व्यक्ति अपनी काबिलियत से सब कुछ हासिल कर सकता है.
दान देने की आदत
चाणक्य नीति में आचार्य चाणक्य ने दान को सबसे उत्तम कर्मों में से एक माना है. उनके अनुसार जो व्यक्ति नियमित रूप से दान-धर्म (charity) करता है वह न केवल आत्मिक शांति प्राप्त करता है बल्कि उसके पास धन की कमी भी कभी नहीं होती. दान देने वाले व्यक्ति के पास समृद्धि और संपन्नता सदैव बनी रहती है.
समय का सदुपयोग करने की आदत
चाणक्य ने समय की महत्वता पर भी जोर दिया है. उनके अनुसार जो व्यक्ति समय की कद्र करता है और उसका सही इस्तेमाल (proper utilization of time) करता है वह अपने भाग्य को बदल सकता है. समय का सही इस्तेमाल करने वाले व्यक्ति के लिए कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं होता.
(Disclaimer: इस आर्टिकल में दी गई जानकारियां और सूचनाएं इंटरनेट से ली गई हैं। Dharataltv.com इनकी पुष्टि नहीं करता है। इन पर अमल करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से संपर्क करें।)