उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने बुंदेलखंड क्षेत्र को सौर ऊर्जा का हब बनाने के लिए एक महत्वाकांक्षी योजना शुरू की है। इस योजना के अंतर्गत झांसी, ललितपुर और चित्रकूट में विशाल सोलर पार्क बनाए जा रहे हैं। इस पहल से न केवल बिजली उत्पादन में वृद्धि होगी। बल्कि रोजगार के भी कई नए अवसर उत्पन्न होंगे।
झांसी सौर ऊर्जा का एक प्रमुख केंद्र
झांसी में सोलर पार्क के विकास के लिए 2700 एकड़ भूमि का चयन किया गया है। जिलाधिकारी अविनाश कुमार के अनुसार इस परियोजना के लिए तहसील गरौठा के 8 गांवों की जमीन को लीज पर लिया जा रहा है। अब तक 263.77 एकड़ सरकारी भूमि और 2328.67 एकड़ निजी भूमि लीज पर अधिग्रहित की जा चुकी है, जो कुल 96 प्रतिशत भूमि अधिग्रहण का कार्य पूरा हो चुका है। इस परियोजना से 600 मेगावाट की बिजली का उत्पादन होगा। जिससे 1400 मिलियन यूनिट वार्षिक उत्पादन की संभावना है।
ललितपुर सोलर पार्क की स्थापना
ललितपुर में भी 2700 एकड़ भूमि पर सोलर पार्क विकसित किया जा रहा है। जिलाधिकारी अक्षय त्रिपाठी के अनुसार इस परियोजना के लिए 1317.80 एकड़ सरकारी और 1022.73 एकड़ निजी भूमि को चयनित किया गया है। इस परियोजना से प्रतिवर्ष 1400 मिलियन यूनिट बिजली का उत्पादन होगा। इससे न केवल बिजली उत्पादन में वृद्धि होगी। बल्कि 210 कुशल और 4850 अकुशल श्रमिकों को भी रोजगार मिलेगा।
चित्रकूट सबसे बड़ा सोलर पार्क
चित्रकूट में 3400 एकड़ भूमि पर 800 मेगावाट क्षमता का सोलर प्लांट स्थापित किया जा रहा है। इस परियोजना के लिए तहसील मऊ के 15 गांवों की जमीन को लीज पर लिया जा रहा है। अब तक 1249.50 एकड़ सरकारी और 1821.51 एकड़ निजी भूमि अधिग्रहित की जा चुकी है। यहां पर 1900 मिलियन यूनिट बिजली का उत्पादन प्रतिवर्ष होगा। इस परियोजना से 265 कुशल और 6050 अकुशल श्रमिकों को रोजगार मिलेगा।
भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया
योगी सरकार ने इन सोलर पार्कों के लिए 32 गांवों की लक्षित भूमि को लीज पर लेने की प्रक्रिया शुरू की है। अब तक 90 प्रतिशत से अधिक भूमि अधिग्रहण का कार्य पूरा हो चुका है। यह प्रक्रिया सुचारू रूप से चल रही है और सरकार ने दिसंबर 2025 तक इन परियोजनाओं को पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया है।
रोजगार के अवसर
इन सोलर पार्कों की स्थापना से बुंदेलखंड में 18,000 से अधिक रोजगार के अवसर उत्पन्न होंगे। परियोजना के निर्माण के दौरान और बाद में संचालन एवं रखरखाव की अवधि में कुशल और अकुशल दोनों प्रकार के श्रमिकों को रोजगार मिलेगा। यह क्षेत्र के आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान देगा।
सौर ऊर्जा निकासी ग्रिड सब स्टेशन का निर्माण
इन परियोजनाओं के अंतर्गत फैंसिंग कार्य और सौर ऊर्जा निकासी के लिए आंतरिक ग्रिड सब स्टेशन का निर्माण किया जा रहा है। यह काम उत्तर प्रदेश पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (यूपीपीसीएल) द्वारा किया जा रहा है। इससे बिजली उत्पादन और वितरण की प्रक्रिया में सुधार होगा और यह सुनिश्चित होगा कि उत्पादित बिजली का सही उपयोग हो सके।
सरकार का दृष्टिकोण
योगी सरकार की इस पहल से न केवल बुंदेलखंड क्षेत्र को सौर ऊर्जा के हब के रूप में विकसित किया जा रहा है। बल्कि यह पहल पर्यावरण संरक्षण की दिशा में भी एक महत्वपूर्ण कदम है। सरकार की योजना है कि भविष्य में और भी सोलर पार्क स्थापित किए जाएं। जिससे राज्य में बिजली की कमी को दूर किया जा सके और हरित ऊर्जा को बढ़ावा दिया जा सके।