हरियाणा सरकार ने नया निर्देश जारी किया है कि राज्य के किसानों को अपने गन्ने की फसल का पंजीकरण ‘मेरी फसल-मेरा ब्यौरा’ पोर्टल पर कराना अब अनिवार्य हो गया है। इस कदम का मुख्य उद्देश्य फसल की खरीद को और अधिक पारदर्शी व व्यवस्थित बनाना है।
सहकारी चीनी मिल कैथल के प्रबंध निदेशक का बयान
प्रबंध निदेशक वकील अहमद ने जानकारी दी कि सरकार द्वारा निर्देशित इस नई प्रक्रिया के अंतर्गत सभी गन्ना किसानों को अपनी फसल का पूरा विवरण इस पोर्टल पर दर्ज कराना होगा। यह न केवल फसल की उचित बिक्री सुनिश्चित करेगा बल्कि किसानों को उनकी उपज का सही मूल्य भी प्रदान करेगा।
गन्ने की खरीद की प्रक्रिया
सरकार के अनुसार अब गन्ने की खरीद केवल उन्हीं किसानों से की जाएगी जिन्होंने अपनी फसल का पंजीकरण पोर्टल पर किया होगा। इससे खरीद प्रक्रिया में कोई असमानता नहीं रहेगी और हर किसान को उसकी फसल का उचित लाभ मिल सकेगा।
पंजीकरण की अंतिम तिथि
अहमद ने आगे बताया कि किसानों के लिए 5 अगस्त तक अपनी फसल का पंजीकरण करवाना आवश्यक है। यदि किसी किसान ने इस तारीख तक अपनी फसल का पंजीकरण नहीं कराया तो उनकी फसल की खरीद नहीं की जाएगी। जिससे उन्हें आर्थिक नुकसान हो सकता है।
किसानों के लिए निर्देश और सहायता
सरकार और प्रबंध निदेशक ने सभी किसानों से अपील की है कि वे समय रहते अपनी फसल का पंजीकरण करवा लें और इस प्रक्रिया में किसी भी तरह की सहायता के लिए नजदीकी कृषि कार्यालय से संपर्क करें। सरकार इस नई पहल के जरिए न केवल किसानों की आय में वृद्धि करना चाहती है। बल्कि उन्हें उनके अधिकार और योग्यता के अनुसार लाभ प्रदान करना चाहती है।